रुड़की। पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने यूपी और उत्तराखंड के बीच परिसंपत्तियों के बंटवारे को प्रदेश के लिए नुकसानदायक बताया। पूर्व सीएम ने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने टिहरी डैम व बहुत सारे प्राकृतिक जलस्रोतों पर प्रदेश की दावेदारी ही खत्म कर दी है। सोमवार को पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने बेरोजगारी, महंगाई, भ्रष्टाचार को लेकर भाजपा सरकार के खिलाफ खानपुर में पदयात्रा निकाली। पदयात्रा शुरू करने से पूर्व उन्होंने कहा कि सीएम धामी यूपी के साथ परिसंपत्तियों का बंटवारा कर जश्न मना रहे हैं। पर हकीकत यह है कि उन्होंने उत्तराखंड की अधिकांश संपदा उत्तर प्रदेश का सौंप दी हैं। टिहरी डैम के पानी पर उत्तराखंड का अधिकार खत्म हो गया है। जिन संपत्तियों पर कोर्ट में मुकदमे विचाराधीन थे, उन्हें भी सीएम ने वापस लेने की घोषणा की है। इससे भविष्य की संभावनाएं भी समाप्त हो गई हैं।
दावा किया कि सीएम के इस कदम से उत्तराखंड को भारी नुकसान हुआ है। उन्होंने कहा कि केंद्र के अलावा जिन राज्यों में भाजपा की सरकारें हैं, वहां गलत फैसलों से आम जनता परेशान है। उन्होंने आरोप लगाया कि सरकारों की गलत नीतियों की वजह से ही देश में महंगाई चरम पर है। बेरोजगारी बढ़ रही है, युवा निराश हैं। किसान खेती से तौबा कर रहा है। उन्होंने कार्यकर्ताओं से भाजपा को जड़ से उखाड़कर फेंकने का आहवान किया। पदयात्रा में डॉ. उमादत्त शर्मा, कृष्णपाल मुखिया, सत्यवीर गुर्जर, गुफरान अंसारी, जगमेर सिंह, नसीम अंसारी, तालिब प्रधान, अमित शर्मा, रतेंद्र तिवारी, ताहिर हसन, वरुणेश चौधरी, सनव्वर राजा, अरुण चौधरी, राजपाल, राकेश कुमार आदि मौजूद रहे।